खाद्य सचल प्रयोगशाला वैन जांच के नाम पर कर रही खानापूर्ति !
Dr. B.K. gupta
Dr. Krishna Singh
Dr. Sawstika Pandey
बलिया। वर्तमान समय में लोगों के अस्वस्थ रहने तथा बीमार पड़ने की मुख्य वजह केमिकलयुक्त जहरीले फल, सब्जी, दूध, पनीर, खावा, मिठाई एवं खाद्य पदार्थों का सेवन करना है। इससे लोग चाह कर भी बच नहीं पा रहे हैं। कदम -कदम पर दूषित खाद्य पदार्थ खुलेआम बेचा जा रहा है। इस पर रोक कैसे लगे इसके लिए शासन -प्रशासन की चिंतित हैं। लेकिन जिम्मेदार खानापूर्ति करने में जुटे हुए हैं।
Dr. Rachana Singh
Dr. P.K. Singh
Dr. Aftab
देखा जाए तो जनपद के कोने-कोने में खाद्य सचल प्रयोगशाला वैन से जांच की जा रही है। पिछले तीन दिनों तक जिला मुख्यालय सहित बलिया-सुखपुरा मार्ग पर हनुमानगंज और धरहरा में खाद्य पदार्थ के दुकानदारों और नागरिकों द्वारा लाई 25 खाद्य सामग्रियों की जांच की गई। सभी खाद्य सामग्रियों की शुद्धता के संबंध में जांच रिपोर्ट से संबंधित व्यक्तियों को तत्काल अवगत करा दिया गया। इसमें तीन खाद्य सामग्रियों की रिपोर्ट मानक के अनुरूप नहीं थी।
खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन उत्तर प्रदेश व भारतीय खाद्य संरक्षा एवं मानक प्राधिकरण नई दिल्ली द्वारा जिले में तीन दिन के लिए खाद्य सचल प्रयोगशाला वैन भेजी गई है। वैन के पास जुटे लोगों को मुख्य खाद्य सुरक्षा अधिकारी दिनेश कुमार राय ने खाद्य पदार्थो के शुद्धता को लेकर जागरूक किया।
Dr. Musrat jahan
Dr. V.S. Singh
Dr. Ujjawal
सहायक आयुक्त द्वितीय वेद प्रकाश मिश्र ने बताया कि खाद्य सचल प्रयोगशाला वैन से कोई भी व्यक्ति अपने खाद्य पदार्थ की शुद्धता की जांच निःशुल्क कराकर इसका लाभ ले सकता है। इस वैन के आने से लोगों में जागरूकता कुछ जरूर बढ़ी है, लेकिन जांच रिपोर्ट पर लोगों का विश्वास नहीं हो रहा। अब केमिकल युक्त एवं दूषित फल, फूल, सब्जी, दूध, पनीर व खोवा आदि खाने से लोगों के स्वास्थ्य पर बुरा असर लगातार पड़ रहा है। लोग बीमार होकर चिकित्सक की गणेश परिक्रमा कर रहे हैं। यहां तक की दावों पर ही जिंदगी निर्भर हो गई है। ऐसे में क्या खाएं क्या ना खाएं ? यह सवाल सबके मन में निरंतर चल रहा है।
Dr. Manish
Dr. Sujeet